कोई भाव से कोई प्यार से
कोई भाव से बोले जो राधे राधे भाग्य जग जायेगा
राधे से जो भी प्रीत लगले मूरत ह्रदय में उनकी बसा ले
फिर श्याम के घनश्याम के
फिर श्याम से पहले लगा ले राधे भाग्य जग जायेगा
कोई भाव से बोले जो राधे राधे भाग्य जग जायेगा
नाम घनश्याम का जो जुबान पे आ जाये जन्मो जनम के पाप मिटाये
इस लोक से उस लोक में
इस लोक से उस लोक में भी आगे भाग्य जग जायेगा
कोई भाव से बोले जो राधे राधे भाग्य जग जायेगा
बंशी की धुन पे जो जग को नचाये कुलदीप गजेंद्र गुण उनके गाये
सुबह शाम ये आठो याम ये
सुबह शाम गुण श्याम जी का गाके भाग्य जग जायेगा
कोई भाव से बोले जो राधे राधे भाग्य जग जायेगा
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