M:- गणपति बाप्पा
कोरस:- मोरिया
M:- वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ |
निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा ||
हर कार्य में सबसे प्रथम पूजा होती है आपकी
है सिद्धि के दाता सदा सर्वदा जय हो आपकी
आप घर आये मेरे हम पर कृपा हुई
आप घर आये मेरे हम पर कृपा हुई
हम सब भक्तो की बप्पा दुनिया ही गुलशन हुई
अपनी दया की दृष्टि से कृपा करो हम सब पर
सेवा करेंगे हम सभी आकर तेरी चौखट पर
सेवा करेंगे हम सभी आकर तेरी चौखट पर
बोलो सिद्धिविनायक भगवान् की
कोरस :- जय
M:- सजा दो घर को फूलो से
सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
कोरस :- सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
M:- लगे कुटिया भी दुल्हन सी
लगे कुटिया भी दुल्हन सी देव सरताज आये है
कोरस :- सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
M:- नयन गंगा बहा करके पखारो इनके चरणों को
कोरस :- नयन गंगा बहा करके पखारो इनके चरणों को
M:- नयन गंगा बहा करके पखारो इनके चरणों को
मेरे गणराज के संग संग
मेरे गणराज के संग संग ये मूषकराज आये है
कोरस :- सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
M:- कभी रीझे में ये धन पे पुकारा हमने ये मन से
कोरस :- कभी रीझे में ये धन पे पुकारा हमने ये मन से
M:- कभी रीझे में ये धन पे पुकारा हमने ये मन से
दुखो को दूर कर सबके हो
दुखो को दूर कर सबके बचाने लाज आये है
कोरस :- सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
M:- उमड़ आयी मेरी अखियां देखकर अपने बप्पा को
कोरस :- उमड़ आयी मेरी अखियां देखकर अपने बप्पा को
M:- उमड़ आयी मेरी अखियां देखकर अपने बप्पा को
हमारी बिगड़ी किस्मत को हो
हमारी बिगड़ी किस्मत को बनाने आज आये है
कोरस :- सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
M:- सजा दो घर को फूलो से मेरे गणराज आये है
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