M:- जीवन की नैया मेरी डूबेगी ये लगता है
पर डूबेगी कैसे भला मेरा मांझी कन्हैया है -2
जीवन की नैया मेरी डूबेगी ये लगता है
पर डूबेगी कैसे भला मेरा मांझी कन्हैया है-2
१
M:- मझदार में जो ना डूबते तो
खुद ही सम्भल जाते हम -2
हारे के साथी तुम हो कन्हैया
ना जान पाते ये हम -2
अब लगता है संसार ये रूठ गया
जग रूठे तो रूठे भला मेरा संसार कन्हैया है
पर डूबेगी कैसे भला मेरा मांझी कन्हैया है
२
M:- एहसान हम पर जो है तुम्हारे
ना भूल पाएंगे हम -2
हम है भिखारी दर के तुम्हारे
तेरे भरोसे है हम -2
अब तेरी ही देहलीज पे निकल जाए दम
हम जैसे गरीबो का ये लखदातार कन्हैया है
अब डूबेगी कैसे भला मेरा मांझी कन्हैया है
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