Current Date: 21 Nov, 2024

सावन की रुत है आजा माँ

- Sonu Nigam


सावन की रुत है आजा माँ
हम झूला तुझे झुलायेगे
फूलो से सजायेंगे तुझको
मेहँदी हाथो में लगाएंगे

कोई भेट करेगा चुनरी
कोई पहनायेगा चूड़ी
माथे पे लगाएगा माँ
कोई भक्त तिलक सिंदूरी

कोई लिए खड़ा है पायल
लाया है कोई कंगना
जिन राहो से आएंगे माँ
तू भक्तो के अंगना

हम पलके वहा बिछाएंगे
सावन की रुत है आजा माँ

माँ अम्बा की डाली पे
झूला भक्तो ने सजाया
चन्दन की बिछाई चौंकी
श्रदा से तुझे भुलाया

अब छोड़ दे आँख मिचोली
आजा ओ मैया भोली
हम तरस रहे है कबसे
सुनने को तेरी बोली

सावन की रुत है आजा माँ

लाखो हो रूप माँ तेरे
चाहे जिस रूप में आजा
नैनो की प्यास भुजा जा
बस इक झलक दिखला जा

झूले पे तुझे बिठा के
तुझे दिल का हाल सुना के
फिर मेवे और मिश्री का
तुझे प्रेम से भोग लगा के

तेरे भवन पे दौड़ के आएंगे
सावन की रुत है आजा माँ

Credit Details :

Song: Sawan Ki Rut Hai Aaja Maa
Singer: Sonu Nigam
Music Director: Amar Haldipuri
Lyricist: Ravi Chopra
Album: Meri Maa

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