Current Date: 22 Dec, 2024

भगवान शिव ने क्यों दिया मां पार्वती को मछुआरिन बनने का शाप (Bhagwan Shiv Ne Kyun Diya Maa parvati ko Machuaarin Banne Ka Shaap)

- The Lekh


भगवान शिव ने क्यों दिया मां पार्वती को मछुआरिन बनने का शाप

एक बार भगवान शिव मां पार्वती को सृष्टि के बारे में बता रहे थे। मां पार्वती भी उन्हें ध्यानमग्न होकर सुन रही थीं। मां पार्वती सृष्टि के रहस्यों को सुनते समय कहीं खो सी गई थीं।

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सृष्टि के ज्ञान को सुनने के साथ-साथ मां पार्वती का ध्यान कल्पना की दुनिया में जाने लगा। इस स्थिति में मां पार्वती कुछ विचारों में खोई हुई सी लग रही थीं। ऐसे में भगवान ने रोककर पार्वती से पूछा कि देवी आप मुझे सुन तो रही हैं न? आपका ध्यान कहां है? लेकिन मां पार्वती अपने विचारों में खोई हुई थीं और उन्होंने भगवान शिव को उनके सवाल का कोई जवाब नहीं दिया। फिर मां पार्वती सामान्य हो गई और बोली हे प्रभु।

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ज्योतिषी पंडित जगन्नाथ गुरुजी बताते हैं कि इसके तुरंत बाद ही भगवान शिव ने पार्वती से कहा कि आपने ब्रह्मज्ञान की अवहेलना की है। वे कहते हैं कि शिक्षित होने के नाते आपका ध्यान भंग नहीं होना चाहिए था। अशिक्षित होने पर ही आपको इसका मूल्य पता चलेगा। इसके बाद भगवान शिव तुरंत मां पार्वती को शाप देते हुए कहते हैं कि आपका जन्म मछुआरों के अशिक्षित परिवार में ही हो।

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कुछ समय बाद ही भगवान शिव का शाप मां पार्वती को लग गया। दरअसल, किसी कारणवश मां पार्वती को मछुआरों के गांव में जाना पड़ा। गांव के मुखिया का कोई संतान नहीं था। एक दिन वह मछली पकड़ने जा रहा था, तो उसमें पेड़ के नीचे एक बच्ची को बैठा हुआ देखा। इसके बाद मुखिया ने मां पार्वती के माता-पिता को बहुत ढूंढा। इसके बाद मुखिया ने आकाश की तरफ हाथ जोड़ते हुए कहा कि हे प्रभु आपका बहुत-बहुत धन्यवाद। आपने आशीर्वाद रूप में मुझे यह बच्ची दी है। मैं इसका पालन पोषण पिता की भांति करूंगा। यह कहकर वह मां पार्वती को लेकर चला गया। इस तरह से वह मछुआरिन बनी। मां पार्वती भगवान शिव के शाप के बाद एक मछुआरिन बनी थी।

 

Why did Lord Shiva curse Mother Parvati to become a fisherwoman?

Once Lord Shiva was telling Mother Parvati about the creation. Mother Parvati was also listening to him attentively. Mother Parvati got lost somewhere while listening to the secrets of creation.

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Along with listening to the knowledge of creation, mother Parvati's attention started going to the world of imagination. In this situation Maa Parvati seemed lost in some thoughts. In such a situation, God stopped and asked Parvati that Goddess, are you listening to me or not? Where is your focus? But Maa Parvati was lost in her thoughts and did not give any answer to Lord Shiva for her question. Then mother Parvati became normal and said, O Lord.

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Astrologer Pandit Jagannath Guruji tells that immediately after this, Lord Shiva told Parvati that you have disregarded Brahmagyan. They say that being educated should not have distracted you. You will know its value only when you are uneducated. After this, Lord Shiva immediately curses Mother Parvati and says that you should be born in an uneducated family of fishermen.

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After some time, mother Parvati was cursed by Lord Shiva. Actually, for some reason Maa Parvati had to go to the fishermen's village. The head of the village had no children. One day when he was going fishing, he saw a girl sitting under a tree. After this, the chief searched a lot for the parents of mother Parvati. After this the chief folded his hands towards the sky and said thank you very much Lord. You have given me this baby girl as a blessing. I will nurture it like a father. Saying this he went away with mother Parvati. That's how she became a fisherwoman. Mother Parvati became a fisherwoman after the curse of Lord Shiva.

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